पीएम ई-ड्राइव योजना 2025 भारत सरकार द्वारा शुरू की गई बहुत ही महत्वपूर्ण योजना है, जिसमें सरकार इलेक्ट्रिक वाहनों को बढ़ावा देने की कोशिश कर रही है, ताकि प्रदूषण पर नियंत्रण किया जा सके। इस योजना में सरकार इलेक्ट्रिक वाहन खरीदने वाले व्यक्ति को सब्सिडी का लाभ भी दे रही है। इस योजना का लाभ कौन ले सकता है? कैसे ले सकता है? और इस योजना में सब्सिडी कैसे मिलेगी, इससे जुड़ी पूरी जानकारी नीचे इस आर्टिकल में विस्तार से दी गई है।

PM E-DRIVE Scheme 2025
पीएम ई-ड्राइव योजना 2025 से जुड़ी कुछ संक्षिप्त जानकारी निम्नलिखित प्रकार से है:
विवरण | जानकारी |
---|---|
योजना | पीएम ई-ड्राइव योजना |
कब शुरू की गई | 1 अक्टूबर 2024 |
योजना कब तक चलेगी | 31 मार्च 2026 |
लाभ किसे मिलेगा | इलेक्ट्रिक वाहन खरीदने वालों को |
मुख्य उद्देश्य | इलेक्ट्रिक वाहनों को बढ़ावा देना |
कितना बजट जारी किया गया है | 10,900 करोड़ रुपये |
आवेदन कैसे होगा | ऑनलाइन और ऑफलाइन |
आधिकारिक वेबसाइट | https://www.pmindia.gov.in/ |
पीएम ई-ड्राइव योजना क्या है?
ये एक धांसू सरकारी योजना है, जो इलेक्ट्रिक वाहनों को बढ़ावा देने के लिए लॉन्च की गई है। इसका मकसद है प्रदूषण कम करना, पेट्रोल-डीज़ल पर निर्भरता खत्म करना, और सस्टेनेबल ट्रांसपोर्ट को बूस्ट करना। ये FAME-II का अपग्रेडेड वर्जन है, जिसमें नए फीचर्स जैसे ई-वाउचर और एडवांस्ड बैटरी की शर्तें जोड़ी गई हैं। इस योजना में इलेक्ट्रिक टू-व्हीलर्स (e-2Ws), थ्री-व्हीलर्स (e-3Ws), ई-बस, ई-एंबुलेंस, और ई-ट्रक्स को सपोर्ट मिल रहा है। और हां, जून 2025 तक ये योजना फुल-ऑन चल रही है!
मुख्य बातें (जून 2025 तक लेटेस्ट अपडेट्स)
- सब्सिडी का धमाका:
- इलेक्ट्रिक टू-व्हीलर्स: 2024-25 में 5,000 रुपये प्रति kWh (अधिकतम 10,000 रुपये) की सब्सिडी, जो 2025-26 में घटकर 2,500 रुपये प्रति kWh (अधिकतम 5,000 रुपये) हो जाएगी।
- इलेक्ट्रिक थ्री-व्हीलर्स: ई-रिक्शा के लिए 25,000 रुपये और L5 कार्गो वाहनों के लिए 50,000 रुपये (2024-25), जो 2025-26 में आधा हो जाएगा (12,500 और 25,000 रुपये)।
- ई-बस: 4,391 करोड़ रुपये से 14,028 बसों को सपोर्ट, खासकर 9 बड़े शहरों में (दिल्ली, मुंबई, बेंगलुरु, आदि)।
- ई-एंबुलेंस और ई-ट्रक्स: दोनों के लिए 500-500 करोड़ रुपये का बजट, जल्द ही क्राइटेरिया आएगा।
- चार्जिंग इंफ्रा का कमाल:
- 72,300 पब्लिक चार्जर्स लगाए जा रहे हैं: 22,100 ई-4Ws के लिए, 1,800 ई-बस के लिए, और 48,400 ई-2Ws/ई-3Ws के लिए।
- भारत हेवी इलेक्ट्रिकल्स लिमिटेड (BHEL) एक “सुपर ऐप” बना रहा है, जिससे चार्जर बुकिंग और पेमेंट आसान होगा।
- ई-वाउचर सिस्टम:
- वाहन खरीदते वक्त आधार से ई-केवाईसी के ज़रिए ई-वाउचर जनरेट होगा। डीलर इसे पोर्टल पर अपलोड करेगा, और सब्सिडी डायरेक्ट मिल जाएगी। बिल्कुल ट्रांसपेरेंट!
- कितने लोगों ने उठाया फायदा? (जून 2025 तक):
- ई-2Ws: लगभग 5.7 लाख यूनिट्स बिकीं, जिनमें से करीब 3 लाख को पीएम ई-ड्राइव की सब्सिडी मिली।
- ई-3Ws: 1.2 लाख यूनिट्स को इंसेंटिव मिला, ज्यादातर कमर्शियल ई-रिक्शा और L5 कार्गो वाहन।
- ई-बस: 2,500 बसें शहरों में तैनात, जैसे बेंगलुरु (1,200) और दिल्ली (800)।
- टोटल लाभार्थी: करीब 4.5 लाख लोग और बिज़नेस (छोटे ई-रिक्शा ड्राइवर्स से लेकर फ्लीट ऑपरेटर्स तक)।
कौन ले सकता है फायदा?
वाहन कैटेगरी | पात्र लोग | सब्सिडी (2024-25) | सब्सिडी (2025-26) |
---|---|---|---|
ई-टू-व्हीलर्स (e-2Ws) | कमर्शियल और प्राइवेट यूज़र्स (एडवांस्ड बैटरी वाले) | 5,000 रुपये/kWh (अधिकतम 10,000) | 2,500 रुपये/kWh (अधिकतम 5,000) |
ई-थ्री-व्हीलर्स (ई-रिक्शा) | केवल कमर्शियल यूज़र्स | 25,000 रुपये | 12,500 रुपये |
ई-थ्री-व्हीलर्स (L5 कार्गो) | केवल कमर्शियल यूज़र्स | 50,000 रुपये | 25,000 रुपये |
ई-बस | स्टेट ट्रांसपोर्ट अंडरटेकिंग्स (STUs) | 4,391 करोड़ रुपये (14,028 बसों के लिए) | उपलब्धता के हिसाब से |
ई-एंबुलेंस | हेल्थ सेक्टर (क्राइटेरिया जल्द आएगा) | 500 करोड़ रुपये आवंटित | वही |
ई-ट्रक्स | लॉजिस्टिक्स ऑपरेटर्स (स्क्रैपिंग सर्टिफिकेट के साथ) | 500 करोड़ रुपये आवंटित | वही |
नोट: सरकारी विभागों को सब्सिडी नहीं मिलेगी। एक आधार पर सिर्फ एक वाहन के लिए सब्सिडी मिल सकती है।
पीएम ई-ड्राइव योजना में आवेदन कैसे करें?
- ऑफिशियल पोर्टल पर जाएं: pmedrive.heavyindustries.gov.in
- रजिस्टर करें: आधार ई-केवाईसी के साथ अकाउंट बनाएं।
- डिटेल्स भरें: वाहन और पर्सनल जानकारी डालें, RTO डॉक्यूमेंट्स अपलोड करें।
- ई-वाउचर: डीलर के ज़रिए ई-वाउचर जनरेट होगा, जो पोर्टल पर अपलोड करना है।
- स्टेटस चेक करें: SMS से कन्फर्मेशन और सब्सिडी का अपडेट मिलेगा।
ये योजना क्यों खास है?
- पब्लिक ट्रांसपोर्ट पर फोकस: 14,028 ई-बस का टारगेट, जो बड़े शहरों में प्रदूषण कम करेगा।
- ई-एंबुलेंस का नया कदम: हेल्थ सेक्टर में ग्रीन मोबिलिटी को बढ़ावा।
- डिजिटल सिस्टम: ई-वाउचर से सब्सिडी में धांधली रुकेगी।
- जून 2025 अपडेट: 4.5 लाख लोग और बिज़नेस ने फायदा उठाया, खासकर ई-रिक्शा ड्राइवर्स और छोटे बिज़नेस। ये FAME-II से भी बड़ा नंबर है!
क्या हैं चुनौतियां?
- चार्जिंग इंफ्रा की कमी: अभी 46 लाख EVs के लिए सिर्फ 25,000 पब्लिक चार्जर्स हैं (184 EVs प्रति चार्जर)।
- ग्रामीण पहुंच: छोटे शहरों में चार्जिंग स्टेशन और जागरूकता कम है।
- सब्सिडी में कटौती: 2025-26 में सब्सिडी आधी हो जाएगी, जो डिमांड पर असर डाल सकती है।
QNA
-
क्या PM ई-ड्राइव योजना प्राइवेट इलेक्ट्रिक कार्स के लिए सब्सिडी है?
प्राइवेट कारों के लिए सीधी सब्सिडी नहीं मिलती, लेकिन 5% GST और सेक्शन 80EEB के तहत 1.5 लाख रुपये तक का टैक्स छूट का फायदा ले सकते हैं।
-
कमर्शियल और प्राइवेट ई-2Ws में क्या फर्क है?
दोनों पात्र हैं, बशर्ते वाहन में एडवांस्ड बैटरी हो। एक आधार पर केवल एक ही सब्सिडी मिलेगी।
-
चार्जिंग स्टेशन कहां-कहां लग रहे हैं?
एक आधार पर केवल एक ही सब्सिडी मिलेगी। कुल 72,300 चार्जिंग पॉइंट्स लगाए जा रहे हैं, जिनमें 22,100 इलेक्ट्रिक कारों, 1,800 इलेक्ट्रिक बसों, और 48,400 इलेक्ट्रिक टू-व्हीलर्स/थ्री-व्हीलर्स के लिए हैं। मुख्य शहर: दिल्ली, मुंबई, बेंगलुरु, वगैरह।
-
ई-एंबुलेंस का क्राइटेरिया क्या है?
हेल्थ मिनिस्ट्री के साथ क्राइटेरिया फाइनल हो रहा है। जल्द ही सेफ्टी और परफॉर्मेंस स्टैंडर्ड्स आएंगे।
-
सब्सिडी कितने दिन में मिलती है?
ई-वाउचर अपलोड होने के 15-30 दिन में सब्सिडी प्रोसेस होती है, जो डीलर को रीइंबर्स होती है और वाहन की कीमत में एडजस्ट हो जाती है।
Conclusion
अगर तुम इलेक्ट्रिक स्कूटर या ई-रिक्शा खरीदने का प्लान कर रहे हो, तो जल्दी अप्लाई करो, क्योंकि 2025-26 में सब्सिडी कम हो जाएगी। अपने डीलर से कन्फर्म करो कि वाहन योजना के क्राइटेरिया में फिट है, और नज़दीकी चार्जिंग स्टेशन का भी पता कर लो। रेंज एंग्जायटी का कोई सीन नहीं, जब चार्जर्स हर जगह होंगे!